Breaking News
देहरादून में नामी खाद्य प्रतिष्ठानों पर छापेमारी, होटल, रेस्तरां, आउटलेट और शिक्षण संस्थानों के किचन से सैंपलों की जांच
पेरिस पैरालंपिक 2024- शॉटपुट एफ57 स्पर्धा में होकाटो होतोजी सीमा ने कांस्य पदक किया अपने नाम 
जम्मू में पहली बार भारत के संविधान के अंतर्गत होगा मतदान – केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह
मानसून के बाद श्री बदरीनाथ -केदारनाथ धाम यात्रा में श्रद्धालुओं की संख्या में हो रही आशातीत वृद्धि- अजेंद्र अजय
विश्वक सेन ने किया नई फिल्म वीएस13 का ऐलान, प्री-लुक पोस्टर भी आउट
16 वर्षीय किशोर ने छह साल की बच्ची के हाथ और मुंह बांधकर किया दुष्कर्म
स्वास्थ्य विभाग को और मिले 197 सीएचओ
उत्तराखंड नगर निकाय चुनाव- खत्म हुआ इंतजार, अब इस माह में होंगे चुनाव 
गाजर खाने के एक नहीं कई हैं फायदे, जान लेंगे तो हो जाएंगे हैरान

राज्यपाल ने राष्ट्रपति को भेजा यूसीसी  विधेयक, मुहर लगने के बाद राज्य में लागू हो जाएगा कानून

देहरादून। राज्यपाल ने यूसीसी विधेयक राष्ट्रपति को भेजा है। राजभवन ने इस पर विचार करने के बाद विधायी विभाग को भेजा था। विधायी के माध्यम से राष्ट्रपति को भेजा गया है। चूंकि यह संविधान की समवर्ती सूची का विषय है, इसलिए बिल अनुमोदन के लिए राज्यपाल से राष्ट्रपति को भेजा गया। विधानसभा से यूसीसी बिल पास होने के बाद इसे राजभवन भेजा गया। इस पर राष्ट्रपति भवन को फैसला लेना है। वहां से मुहर लगने के बाद राज्य में कानून लागू हो जाएगा। उत्तराखंड के बाद असम की भाजपा सरकार यूसीसी बिल विधानसभा में सबसे पहले पेश कर सकती है। राजस्थान सरकार भी यूसीसी लाने का एलान कर चुकी है।

विधेयक में सभी धर्म-समुदायों में विवाह, तलाक, गुजारा भत्ता और विरासत के लिए एक कानून का प्रावधान है। महिला-पुरुषों को समान अधिकारों की सिफारिश की गई है। अनुसूचित जनजातियों को इस कानून की परिधि से बाहर रखा गया है। मुख्यमंत्री धामी ने बताया कि, देश के पहले गांव माणा में संवाद से ड्राफ्ट समिति ने इसकी शुरुआत की थी। उन्होंने अब अन्य राज्यों को भी इस दिशा में प्रयास करने का आह्वान करते हुए कहा, जिस प्रकार गंगा सबके लिए सुखदायी है, वैसे ही यूसीसी भी मातृशक्ति व पूरे समाज के लिए सुखद होगा।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back To Top