Home उत्तराखंड चुनाव से ऐन पहले बदल जाती है इनकी निष्‍ठा

चुनाव से ऐन पहले बदल जाती है इनकी निष्‍ठा

देहरादून। चुनाव से ऐन पहले राजनीती  के कई खिलाड़ी ऐसे है जिनकी निष्‍ठा समय के साथ बदल जाती है, जिस दल को गाली देकर चुनावी रण में अपनी भड़ास निकाल कर दे खिलाड़ी विधानसभा या लोकसभा जैसे सवैधानिक भवन में  प्रवेश करने लायक बनाते हैं उसी दल के प्रति इनकी  निष्‍ठा अगला चुनाव आते ही एकदम से बदल जाती है। अब वहीं दल जिसमें रहते हुए ये विधायक या सांसद बने हैं इनको अपना दुश्‍मनों का दल नजर आने लगता है। जी हां उत्‍तराखण्‍ड में आजकल ऐसे खिलाड़ी कई देखे जाने लगे हैं।
उत्तराखंड में जैसे-जैसे विधानसभा चुनाव  नजदीक आ रहे हैं, दलबदल का सिलसिला तेज हो गया है। शुरुआत भाजपा ने की थी, जो अब तक कांग्रेस के एक व दो निर्दलीय विधायकों को पार्टी में शामिल करा चुकी है। अब कांग्रेस ने भाजपा को झटका देते हुए कैबिनेट मंत्री यशपाल आर्य व उनके विधायक पुत्र संजीव आर्य की घर वापसी करा दी। घर वापसी इस लिहाज से कि आर्य पहले कांग्रेस में ही थे और वर्ष 2017 के विधानसभा चुनाव से पहले ही वह भाजपा में शामिल हुए थे।
चुनाव से पहले दल बदलना या कहें कि निष्ठा बदलना सामान्य बात है और उत्तराखंड में भी यह होता रहा है। इतना फर्क जरूर है कि पहले ऐसा छिटपुट होता था, मगर वर्ष 2016 के बाद इसने अपेक्षाकृत व्यापक रूप ले लिया। तब कांग्रेस के एक पूर्व मुख्यमंत्री समेत नौ विधायकों ने एक साथ भाजपा का दामन थाम लिया था। यह सिलसिला वर्ष 2017 के विधानसभा चुनाव तक चला और इस दौरान एक कैबिनेट मंत्री समेत दो विधायक कांग्रेस छोड़ भाजपा में चले गए थे। महत्वपूर्ण बात यह कि इससे पहले दो अवसर ऐसे आए, जब तत्कालीन मुख्यमंत्री ने विधानसभा चुनाव लड़ने के लिए विपक्षी विधायक से सीट खाली कराई।
पहले वर्ष 2007 में भुवन चंद्र खंडूड़ी के लिए कांग्रेस के टीपीएस रावत और फिर वर्ष 2012 में विजय बहुगुणा के लिए भाजपा के किरण मंडल ने सीट छोड़ी थी। साफ है कि छोटा राज्य होने के बावजूद दलबदल जैसी परिपाटी से उत्तराखंड भी खुद को अलग नहीं रख पाया। इतना जरूर है कि दल बदलने वाले विधायकों को या तो अपनी सदस्यता से हाथ धोना पड़ा या फिर उन्होंने खुद ही इस्तीफा दे दिया। राजनीति में दल बदलने का फैसला नेता अपने भविष्य की सुरक्षा के मद्देनजर ही करते हैं, मगर इससे मतदाता का विश्वास कहीं न कहीं टूटता है। चुनाव में जीत दिलाकर जिस नेता को विधायक बनाया, वह कितना कसौटी पर खरा उतरा, यह तो मतदाता ही तय करेंगे। अगर वह अपने क्षेत्र के विकास और जन हितों के लिए संघर्षरत और समर्पित रहे तो शायद उसे निष्ठा बदलने की जरूरत ही न पड़े। चुनाव के वक्त राजनीतिक दल स्वयं इस तरह की कोशिश करते हैं, इससे दलबदल को बढ़ावा मिलता है।
जब तक राजनीतिक दल खुद आगे आकर दलबदल पर रोक की पहल नहीं करेंगे, यह सब चलता ही रहेगा। ऐसा होना फिलहाल तो मुमकिन नहीं दिखता, लिहाजा इस स्थिति में मतदाता की ही भूमिका सबसे अहम हो जाती है। जरूरी है कि मतदाता आकलन करे और अपने विवेक से फैसला ले। चुनाव से पहले दल बदलना सामान्य बात है। उत्तराखंड को अलग राज्य बने अभी 21 साल ही होने जा रहे हैं, लेकिन इस परिपाटी से यह राज्य भी अछूता नहीं
RELATED ARTICLES

जीएमवीएन के होटलों में ठहरने वाले पर्यटक अब निजी एप के जरिए भी कर सकेंगे बुकिंग, इस एप को सौंपी जिम्मेदारी

देहरादून। गढ़वाल मंडल विकास निगम (जीएमवीएन) के होटलों में ठहरने वाले पर्यटक अब निजी एप के जरिए भी बुकिंग कर सकेंगे। पहले चरण में जीएमवीएन...

उत्तराखंड अधीनस्थ सेवा चयन आयोग ने दोबारा समूह-ग भर्तियों की मांगी जिम्मेदारी, अब 11 जून को कराई जाएगी वन दरोगा भर्ती परीक्षा

देहरादून। पेपर लीक के सदमे से बाहर निकलकर पांच दिन के भीतर सचिवालय रक्षक पुर्नपरीक्षा का परिणाम जारी करने वाले उत्तराखंड अधीनस्थ सेवा चयन आयोग...

आज से पटरी पर दौड़ेगी वंदे भारत एक्सप्रेस, कई ट्रेनों के समय में हुआ बदलाव, ट्रेनों का समय देखकर ही स्टेशन पहुंचे यात्री

देहरादून। वंदे भारत एक्सप्रेस सोमवार सुबह सात बजे देहरादून से दिल्ली के लिए रवाना हुई। इससे पहले इस सेमी हाई स्पीड ट्रेन वंदे भारत...

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

Most Popular

दुनिया की सबसे ज्यादा बिकने वाली पहली ईवी कार बनी टेस्ला मॉडल वाई

नई दिल्ली। दुनिया की सबसे ज्यादा बिकने वाली कार टेस्ला मॉडल वाई पहली इलेक्ट्रिक वाहन बन गई है। एक रिपोर्ट में यह बात सामने आई...

राजधानी दिल्ली में एक युवक ने नाबालिग लड़की की चाकू से गोदने के बाद पत्थर से कुचलकर की हत्या

नई दिल्ली। देश की राजधानी दिल्ली में सनसनीखेज वारदात सामने आई है। दिल्ली के शाहबाद डेरी इलाके में एक युवक ने नाबालिग लड़की की चाकू...

जीएमवीएन के होटलों में ठहरने वाले पर्यटक अब निजी एप के जरिए भी कर सकेंगे बुकिंग, इस एप को सौंपी जिम्मेदारी

देहरादून। गढ़वाल मंडल विकास निगम (जीएमवीएन) के होटलों में ठहरने वाले पर्यटक अब निजी एप के जरिए भी बुकिंग कर सकेंगे। पहले चरण में जीएमवीएन...

अमृतसर में बीएसएफ ने मार गिराया पाकिस्तानी ड्रोन, 40 करोड़ की हेरोइन जब्त- तस्कर भी पकड़ा

अमृतसर। अमृतसर में बॉर्डर सिक्योरिटी फोर्स ने पाकिस्तानी तस्करों की दो कोशिशों को नाकामयाब कर दिया है। बीएसएफ जवानों ने अमृतसर सेक्टर में दो लोकेशनों...

रेसिपी- गर्मियों में शरीर को ठंडा रखता है खरबूजे का जूस

खरबूजे का जूस एक पूरी तरह से ताजा जूस है जिसे आपको खरबूजे के मौसम अर्थात् गर्मियों में बनाना चाहिए। खरबूज को खरबूजा या...

उत्तराखंड अधीनस्थ सेवा चयन आयोग ने दोबारा समूह-ग भर्तियों की मांगी जिम्मेदारी, अब 11 जून को कराई जाएगी वन दरोगा भर्ती परीक्षा

देहरादून। पेपर लीक के सदमे से बाहर निकलकर पांच दिन के भीतर सचिवालय रक्षक पुर्नपरीक्षा का परिणाम जारी करने वाले उत्तराखंड अधीनस्थ सेवा चयन आयोग...

कान्स में सनी लियोनी ने बिखेरा हुस्न का जलवा, थाई-हाई स्लिट ड्रेस में ढाया कहर

कान्स फिल्म फेस्टिवल 2023 में बॉलीवुड स्टार्स का जलवा देखने को मिल रहा है। उर्वशी रौतेला, सारा अली खान से लेकर मृणाल ठाकुर तक...

जंतर-मंतर पर ‘दंगल’, बैरिकेड तोड़े, धक्का-मुक्की और हंगामा- पुलिस ने हिरासत में लिए पहलवान

नई दिल्ली। जंतर-मंतर से प्रदर्शनकारी पहलवानों को दिल्ली पुलिस ने हिरासत में ले लिया है। पहलवान संसद भवन की ओर मार्च करने की कोशिश कर...

आज से पटरी पर दौड़ेगी वंदे भारत एक्सप्रेस, कई ट्रेनों के समय में हुआ बदलाव, ट्रेनों का समय देखकर ही स्टेशन पहुंचे यात्री

देहरादून। वंदे भारत एक्सप्रेस सोमवार सुबह सात बजे देहरादून से दिल्ली के लिए रवाना हुई। इससे पहले इस सेमी हाई स्पीड ट्रेन वंदे भारत...

कायम रहे संसद की मर्यादा

सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार को नए संसद भवन का उद्धाटन राष्ट्रपति से कराने की याचिका पर सुनवाई से इनकार कर दिया। साथ ही कोर्ट...